सरदारपुर (धार) । पूर्व जिला पंचायत सदस्य अमझेरा कमल यादव ने चार समस्याओ को लेकर जनदर्शन यात्रा के दौरान उनका स्वागत किया और चार समस्याओ को लेकर ज्ञापन सौपा।
यादव ने मुख्य मंत्री को दिये गए ज्ञापन में बताया कि अमझेरा नगर की निम्न चार प्रमुख समस्याओं का निदान कर इस शहीद नगरी को आजादी के प्रथम संग्राम में दिये महत्वपूर्ण योगदान के फलस्वरूप म0प्र0 शासन की ओर से विशेष सौगात प्रदान करे।
1. आपने 04 सितम्बर 2008 को राजगढ़ जिला धार की जन आशीर्वाद रैली की सभा में अमझेरा को पार जिले की नवीन तहसील बनाने की घोषणा की थी किन्तु 15 वर्षों बाद आज तक अमझेरा की तहसील का दर्जा नहीं मिल सका । विपक्षीगण इसका मजाक बनाकर हमपर और सरकार पर कटाक्ष करते हैं । अतय अनुरोध है कि अमझेरा को धार जिले की नवीन तहसील बनाने की स्वीकृति आज ही प्रदान करने की कृपा करेंगे ।
2. अमझेरा में 1962 से उच्चतर माध्यमिक विद्यालय संचालित है तथा अमझेरा के आसपास 4 अन्य उच्चतर माध्यमिक विद्यालय संचालित है, जिनमें प्रतिवर्ष 300 से अधिक छात्र-छात्राएं कक्षा 12 वी उत्तीर्ण करते हैं किन्तु धार राजगढ़, मनावर आदि में संचालित महाविद्यालयों की दूरी अधिक होने से 250 छात्र-छात्राएं प्रतिवर्ष उच्च शिक्षा से वंचित रह जाते है । अमझेरा में महाविद्यालय की स्थापना करने से इन्हें उच्च शिक्षा का भी लाभ प्राप्त होकर रोजगार प्राप्ति के अवसर सुलभ होगे । अतः निवेदन है कि अमझेरा में अतिशीघ्र महाविद्यालय की स्थापना करने की कृपा करेंगे।
3. अमझेरा में 50 ग्रामों के कृपका अपनी कृषि उपज का विक्रय करते हैं तथा धार एवं राजगढ़ की कृषि उपज मण्डी की अमझेरा से अधिक दूरी के कारण स्थानीय स्तर पर उपज बेचने पर किसानों को उचित दाम नहीं मिल पाता है। यदि अमझेरा में कृषि उपज मंडी की स्थापना कर दी जाये तो 50 ग्रामों के 1000 से अधिक किसानों को अपनी उपज का उचित दाम का लाभ प्राप्त हो सकेगा । अतैव अमझेरा में कृषि उपज मंडी की स्थापना करवाने की कृपा करेंगे ।
4. अमझेरा में खेल स्टेडियम का अभाव होने के कारण यहाँ की खेल प्रतिभाएँ जिला एवं राज्य स्तर पर अपना श्रेष्ठतम प्रदर्शन नहीं कर पाती है। फलस्वरूप अनेक खेल प्रतिभाएँ यही दबी रह जाती है। यदि अमझेरा में एक खेल स्टेडियम का निर्माण म०प्र०शासन द्वारा करवा दिया जाता है तो यहाँ की खेल प्रतिभाओं को खेल क्षेत्र में प्रदर्शन का उचित अवसर प्राप्त हो सकेगा ।
अमझेरा में उक्त चारों सुविधाओं की उपलब्धता करवाने हेतु 150 बीघा से अधिक भूमि शासकीय आरक्षित है तथा अनेक शासकीय भवन भी रिक्त पड़े हैं ।