BREAKING NEWS
latest
Times of Malwa Digital Services
Promote your brand with positive, impactful stories. No accusations, no crime news—only inspiring and constructive content through Google Articles.
📞 9893711820   |   📧 akshayindianews@gmail.com

नि-क्षय मित्र और रोगी के मध्य नियमित संवाद का प्लेटफार्म बनाएँ : श्री पटेल,राज्यपाल, तीन जिलों के टी.बी. रोगियों के उपचार में सहायता करेंगे,स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को दिए निर्देश

 


  BHOPAL: राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल ने राजभवन की ओर से तीन जिलों के टी.बी. रोगियों को आर्थिक सहायता उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि टी.बी. रोग उन्मूलन प्रयासों में रोग संबंधी जरूरी सावधानियों, आहार, पोषण, दिनचर्या और दवाओं के नियमित सेवन के बारे में रोगी और नि-क्षय मित्र के दिशा-दर्शन के प्रयास किए जाएँ। उन्होंने कहा कि रोगी को पोषण अनुदान के रूप में दी जाने वाली आर्थिक सहायता में वृद्धि की संभावनाओं को तलाशे रोगी के बैंक खाते और मोबाइल नंबर की जानकारी नि-क्षय मित्र को उपलब्ध कराने की पहल भी करें, जिससे नि-क्षय मित्र और रोगी के मध्य नियमित सीधा संवाद, सहायता और सहयोग का प्लेटफार्म उपलब्ध हो।  


      राज्यपाल श्री पटेल राजभवन में में टी.बी. उन्मूलन कार्यक्रम के तहत सामुदायिक सहभागिता नि-क्षय 2.0 की गतिविधियों पर स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों के साथ चर्चा कर रहे थे।


      राज्यपाल श्री मंगुभाई पटेल ने कहा कि टी.बी. उपचार प्रयासों में रोगी द्वारा उचित आहार, आवश्यक सावधानियों का पालन और नियमित दवा का सेवन सभी पर समग्र रूप से फोकस किया जाना जरूरी है। रोगी धूम्रपान नहीं करें। चूल्हे पर खाना नहीं बनाए। खखार को इधर-उधर नहीं फैलने दें। पोषक तत्वों वाला आहार ग्रहण करें। यह बताना भी जरूरी है कि टी.बी. शरीर को धीरे-धीरे अंदर ही अंदर खोखला करता है। इसलिए जितनी जल्दी उपचार शुरू होगा, सावधानियों का जितनी कड़ाई से पालन होगा, रोगी भी उतनी ही जल्दी स्वस्थ होगा। उन्होंने उपचार प्रयासों में सहयोग के कार्यों को व्यवहारिक स्वरूप में प्रभावी बनाने की आवश्यकता बताई। उन्होंने कहा कि टी.बी. प्रभावित महिलाओं को उज्जवला योजना में गैस चूल्हे की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए। उन्होंने कहा कि लंबे उपचार से कई बार रोगी में नैराश्य का भाव उत्पन्न हो जाता है। यह आवश्यक है कि उसका मनोबल कम नहीं हो। नि-क्षय मित्र एवं स्वास्थ्य कार्यकर्ता का इस संबंध में उन्मुखीकरण किया जाना जरूरी है। उन्होंने सक्रिय नि-क्षय मित्रों के प्रोत्साहन प्रयासों पर भी ध्यान दिए जाने की जरूरत बताई। उनके सम्मान और प्रसिद्ध व्यक्तियों के साथ संवाद के कार्यक्रम भी किए जाने पर बल दिया।


  अपर मुख्य सचिव स्वास्थ्य श्री मोहम्मद सुलेमान ने बताया कि नि-क्षय मित्र 2.0 प्रदेश में तीव्र गति से संचालित किया जा रहा है। केंद्र शासित प्रदेशों को छोड़ कर क्षय रोगियों को नि-क्षय मित्रों के साथ जोड़ने में 90 प्रतिशत की उपलब्धि के साथ मध्यप्रदेश प्रथम स्थान पर है। विकासखण्ड स्तर पर मॉलिक्यूलर टेस्टिंग की व्यवस्था से रोगी चिन्हांकन कार्य में भी तेज गति आई है।


     राज्यपाल के प्रमुख सचिव श्री डी.पी. आहूजा, स्वास्थ्य आयुक्त डॉ. सुदाम खाड़े, मिशन संचालक एन.एच.एम. सुश्री प्रियंका दास सहित अधिकारी उपस्थित थे।                      

« PREV
NEXT »