राजगढ़(धार)। श्रमणसंघ निर्माण के मुख्य सुत्रधार मालव केसरी प्रसिद्ध वक्ता श्री सौभाग्यमल जी म.सा का 38 वा पुण्यस्मृति दिवस 22 जुलाई शुक्रवार को सम्पूर्ण देश मे जप तप त्याग आदि विभिन्न धर्म आराधना के साथ मनाया जायेगा। इस बार पुण्यस्मृति दिवस पर विशेष संयोग बन रहा है। पूज्य श्री के पुण्यस्मृति दिवस पर 22 तारिख ही आ रही है, 38 वर्ष पहले 22 जुलाई 1984 को मालव केसरी जी म.सा ने संथारा संलेखना के साथ रतलाम शहर के चौमुखी पुल स्थित धर्मदास मित्र मंडल स्थानक भवन पर अपनी नशवर देह का त्याग कर देवलोक के लिए महाप्रयाण किया था, 38 वर्ष पहले मालव केसरी जी म.सा की अंतिम यात्रा मे 50000 हजार से अधिक गुरु भक्तो की उपस्थिति थी,जो उस समय भारत देश के इतिहास मे प्रथम बार किसी जैन संत की अंतिम यात्रा मे थी।
गुरु सौभाग्य प्रकाश भक्त मंडल के प्रांतीय सदस्य हेमंत वागरेचा ने बताया की मालव केसरी जी म.सा के प्रति सम्पूर्ण देश के स्थानकवासी सम्प्रदाय के साथ ही मुर्ति पुजक सम्प्रदाय एवं अनेको अजैन बंधु भी बड़ी संख्या मे आस्था रखते है, पुण्यस्मृति दिवस का मुख्य समारोह पुज्यपाद गुरुदेव के समाधि स्थल सागोद रोड़ रतलाम एवं प्रवर्तक श्री प्रकाशमुनि जी म.सा निर्भय की निश्रा मे इन्दौर शहर मे आयोजित होगा, इस अवसर पर सम्पुर्ण देश मे निवास करने वाले गुरु भक्त हजारो की संख्या मे तेला तप के साथ उपवास आदि अनेक तप आराधना कर गुरु के प्रति अपने श्रद्धा भाव प्रकट करेगे, 22 जुलाई को रतलाम सागोद रोड़ पर स्थित समाधि स्थल पर प्रातः गुरू गुणानुवाद, एकासन तप आदि अनेको आयोजन होंगे, ईस अवसर पर देश भर से हजारो की संख्या मे गुरु भक्त रतलाम समाधि स्थल पर पहुंच कर अपनी श्रद्धा प्रकट कर शीश नमायेगे, समाज के पिन्टु वागरेचा ने बताया की मालव केसरी जी म.सा के पुण्यस्मृति दिवस पर राजगढ श्री संघ का युवा प्रतिनिधि मंडल रतलाम समाधि स्थल पर जायेगा।